पहलगाम हमले के बाद पाकिस्तान घबराया, IMF की समीक्षा बैठक से पहले भारत ने बनाया दबाव

पहलगाम हमले के बाद IMF की समीक्षा से पहले पाकिस्तान में हड़कंप

पहलगाम हमले के बाद IMF की समीक्षा से पहले पाकिस्तान में हड़कंप

नई दिल्ली। 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के हलगाम आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान की घबराहट अब अंतरराष्ट्रीय मंचों पर साफ दिख रही है। भारत द्वारा वैश्विक संस्थाओं से पाकिस्तान को दी जा रही वित्तीय मदद की समीक्षा की मांग के बाद, अब पाकिस्तान अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) की आगामी समीक्षा बैठक से पहले बैकफुट पर नजर आ रहा है।

भारत की घोषणा कि वह IMF और अन्य वैश्विक एजेंसियों से पाकिस्तान को मिल रही आर्थिक सहायता पर पुनर्विचार करने को कहेगा, ने इस्लामाबाद की चिंताओं को और बढ़ा दिया है। भारत ने यह कदम पाकिस्तान के आतंकी नेटवर्क को मिलने वाले अप्रत्यक्ष समर्थन को उजागर करने के उद्देश्य से उठाया है।

9 मई को होने वाली है IMF की अहम बैठक

IMF का कार्यकारी बोर्ड 9 मई को पाकिस्तान से मुलाकात करेगा। बैठक का उद्देश्य विस्तारित वित्तपोषण सुविधा (EFF) और मजबूती एवं स्थिरता सुविधा (RSF) के तहत पहली समीक्षा करना है। भारत की आपत्ति के बाद, इस बैठक पर वैश्विक नजरें टिक गई हैं।

पाकिस्तानी अखबार ‘एक्सप्रेस ट्रिब्यून’ के अनुसार, पाकिस्तान के अधिकारी भारत की पहल को एक राजनीतिक साजिश बता रहे हैं। उनका कहना है कि IMF को शामिल करना भारत का पाकिस्तान को कूटनीतिक रूप से अलग-थलग करने का हिस्सा है।

भारत ने आतंकियों की पहचान की, पाकिस्तान पर आरोप तय

भारत ने पहलगाम हमले में शामिल पांच आतंकवादियों की पहचान कर ली है, जिनमें तीन पाकिस्तानी नागरिक शामिल हैं। यह हमले में आईएसआई की संलिप्तता को पुख्ता करता है। पाकिस्तान ने हालांकि सभी आरोपों को खारिज करते हुए एक निष्पक्ष अंतरराष्ट्रीय जांच की मांग की है।

PM मोदी ने दी सख्त चेतावनी: मिलेगा करारा जवाब

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 24 अप्रैल को स्पष्ट कहा था कि पहलगाम हमले का दुखद अंत नहीं, बल्कि शुरुआत है। उन्होंने साजिशकर्ताओं को “कल्पना से परे सजा” देने की बात कही। सूत्रों के अनुसार, 29 अप्रैल को हुई उच्चस्तरीय रक्षा बैठक में उन्होंने सशस्त्र बलों को जवाब देने की पूरी स्वतंत्रता दे दी है।

पाकिस्तान को आर्थिक राहत की चिंता

पाकिस्तान के वित्त मंत्रालय के एक वरिष्ठ सलाहकार ने कहा है कि IMF से पिछले वर्ष मिला $7 अरब का राहत पैकेज फिलहाल पटरी पर है, और मार्च 2025 तक $1.3 अरब की अतिरिक्त मदद जलवायु लचीलापन निधि के तहत मिलने की उम्मीद है। ऐसे में भारत की आपत्ति पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था पर प्रत्यक्ष प्रभाव डाल सकती है।

कूटनीति बनाम आतंक का मोर्चा

जहां भारत आतंकवाद के खिलाफ निर्णायक रुख अपनाए हुए है, वहीं पाकिस्तान कूटनीतिक दबाव से जूझ रहा है। IMF और अन्य वैश्विक मंचों पर भारत का रुख यह संकेत देता है कि अब आतंक को छिपाने वालों पर अंतरराष्ट्रीय मंचों पर भी जवाबदेही तय की जाएगी।

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