अंकिता भंडारी मर्डर केस में उम्रकैद, परिवार बोला– ये न्याय नहीं

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अंकिता भंडारी हत्याकांड: दोषियों को उम्रकैद की सजा

अंकिता भंडारी हत्याकांड: दोषियों को उम्रकैद की सजा

कोटद्वार – बहुचर्चित अंकिता भंडारी हत्याकांड मामले में कोटद्वार स्थित अपर जिला एवं सत्र न्यायालय (एडीजे कोर्ट) ने शुक्रवार को ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए तीनों आरोपियों – वनंत्रा रिज़ॉर्ट के मालिक पुलकित आर्य, उसके कर्मचारी सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता – को उम्रकैद की सजा सुनाई है। अदालत ने सभी आरोपियों को हत्या (धारा 302), साक्ष्य छुपाने (धारा 201), छेड़छाड़ (धारा 354) सहित अन्य धाराओं में दोषी पाया।

अदालत ने तीनों दोषियों पर 50-50 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है। साथ ही पीड़िता के परिजनों को चार लाख रुपये की क्षतिपूर्ति राशि देने का आदेश दिया गया है। यह फैसला लगभग दो साल आठ महीने लंबी चली सुनवाई के बाद आया, जिसमें अभियोजन पक्ष की ओर से 47 गवाहों की गवाही कराई गई।

परिजनों ने फैसले पर जताई नाराज़गी, फांसी की मांग

अदालत के इस फैसले से जहां कई लोग इसे न्याय की दिशा में एक कदम मान रहे हैं, वहीं अंकिता भंडारी के माता-पिता इससे संतुष्ट नहीं हैं। उन्होंने कहा, “जिन लोगों ने हमारी बेटी को बेरहमी से मौत के घाट उतारा, उन्हें भी मौत की सजा मिलनी चाहिए थी। हम हाईकोर्ट में अपील करेंगे।”

फैसले से पहले कोर्ट के बाहर हंगामा

कोर्ट का फैसला आने से पहले कोर्ट परिसर के बाहर माहौल तनावपूर्ण रहा। भारी भीड़ ने पुलिस द्वारा की गई बैरिकेडिंग तोड़कर भीतर जाने की कोशिश की। पुलिस ने पूरी ताकत से भीड़ को नियंत्रित किया। सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए गढ़वाल मंडल के विभिन्न जनपदों से भारी पुलिस बल और डेढ़ कंपनी पीएसी तैनात की गई थी। वरिष्ठ अधिकारी लगातार निगरानी कर रहे थे।

निषेधाज्ञा लागू, चार मजिस्ट्रेट तैनात

कोर्ट के 200 मीटर के दायरे में निषेधाज्ञा (धारा 144) लागू कर दी गई है। कोटद्वार एसडीएम सोहन सिंह सैनी के आदेशानुसार, इस क्षेत्र में समूह में प्रवेश, नारेबाजी और प्रदर्शन पर प्रतिबंध रहेगा। कोर्ट परिसर को छावनी में तब्दील कर दिया गया है।

घटना का विवरण – कब क्या हुआ?

  • 18 सितंबर 2022: अंकिता की हत्या कर चीला नहर में फेंका गया।

  • 20 सितंबर 2022: पुलकित आर्य ने उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई।

  • 22 सितंबर 2022: मामला राजस्व पुलिस से हटाकर नियमित पुलिस को सौंपा गया। जांच में हत्या की पुष्टि हुई।

  • 23 सितंबर: तीनों आरोपी जेल भेजे गए।

  • 24 सितंबर: अंकिता का शव चीला नहर बैराज से बरामद हुआ, एम्स ऋषिकेश में पोस्टमार्टम हुआ।

  • 26 सितंबर: पुलिस कस्टडी में क्राइम सीन का पुनः निर्माण कराया गया।

  • 16 दिसंबर 2022: आरोपियों पर हत्या, साक्ष्य मिटाने, छेड़छाड़ और अनैतिक देह व्यापार अधिनियम के तहत चार्जशीट दाखिल।

  • 30 जनवरी 2023: एडीजे कोर्ट में सुनवाई शुरू हुई।

  • 30 मई 2025: अदालत का फैसला आया।

यह मामला केवल एक युवती की हत्या नहीं, बल्कि समाज और कानून व्यवस्था की गंभीर परीक्षा भी बना। अब जबकि कोर्ट का फैसला आ चुका है, परिजनों और आम जनता की निगाहें अब हाईकोर्ट पर हैं, जहाँ संभवतः सजा को चुनौती दी जाएगी

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